Ram Rahim parole: डेरा सच्चा सौदा के प्रमुख और बलात्कार के दोषी गुरमीत राम रहीम सिंह एक बार फिर जेल से बाहर आने वाले हैं. सोमवार को भारत के चुनाव आयोग ने उनका पैरोल अनुरोध को मंजूरी दे दी है.
पिछले नौ महीनों में यह उनको मिला तीसरा पैरोल है जबकि चार साल पहले उनकी बलात्कार के मामले में दोषसिद्धि के बाद से उनकी कुल अस्थायी 15वीं रिहाई है.
हरियाणा में मतदान से पहले खास है राम रहीम की रिहाई
हरियाणा और पंजाब में खासा प्रभाव रखने वाले सिंह की आगामी रिहाई 5 अक्टूबर को हरियाणा विधानसभा चुनाव से कुछ दिन पहले तय की गई है. इंडिया टुडे की रिपोर्ट के अनुसार, उनकी पिछली फरलो और पैरोल लगातार विभिन्न चुनावों के साथ हुई हैं, चाहे वह नगर निकाय या राज्य विधानसभाओं के लिए हो.
राम रहीम पर चुनावी गतिविधि में शामिल होने पर है रोक
हलांकि पैरोल के दौरान, डेरा सच्चा सौदा प्रमुख को प्रतिबंधों का सामना करना पड़ेगा, जिसमें हरियाणा में प्रवेश करने और किसी भी चुनाव संबंधी गतिविधियों में भाग लेने पर प्रतिबंध शामिल है, चाहे वह व्यक्तिगत रूप से हो या सोशल मीडिया के माध्यम से. चुनाव आयोग की मंजूरी मिलने के बाद, हरियाणा सरकार द्वारा जल्द ही उनकी रिहाई का आदेश जारी करने की उम्मीद है.
Ram Rahim parole और फरलो का चुनाव से है खास रिश्ता
राम रहीम कितनी बार जेल से बाहर आ चुका है? 13 अगस्त को 21 दिन की फरलो मिलने के बाद, गुरमीत राम रहीम 2 सितंबर को सुनारिया जेल लौट आया. 2020 से, डेरा सच्चा सौदा प्रमुख को फरलो और पैरोल के माध्यम से कुल 259 दिनों के लिए 14 बार अस्थायी रूप से रिहा किया गया है.
गुरमीत राम रहीम को 19 जनवरी को लोकसभा चुनाव से ठीक पहले पैरोल मिली थी, जिससे चुनावी कार्यक्रमों के साथ-साथ रिहाई का चलन जारी रहा.
इससे पहले उन्हें 2022 के पंजाब विधानसभा चुनावों के दौरान 21 दिन की छुट्टी मिली थी और हरियाणा नगर निगम चुनावों से ठीक पहले 17 जून, 2022 को एक और रिहाई मिली थी.
2017 में गुरमीत राम रहीम सिंह को अपनी दो महिला अनुयायियों के साथ बलात्कार करने के लिए दोषी ठहराया गया और 20 साल की सजा सुनाई गई. हालांकि, 2002 में संप्रदाय के पूर्व प्रबंधक रंजीत सिंह की हत्या के मामले में मई में उच्च न्यायालय ने उन्हें और चार अन्य को बरी कर दिया था.