दिल्ली : शाहबाद डेयरी इलाके में रविवार रात जो हुआ, वो किसी भी सभ्य समाज के लिए खौफनाक है. इंसानों की बस्ती में ऐसे नृसंश वाकये (Sakshi Murder) ने उस समाज का बेदर्द चहेरा सामना ला दिया है, जिसके बारे में आम तौर पर लोग किस्सों कहानियों में सुनते हैं.
एक 16 साल की लड़की (Sakshi Murder) पर एक साईको किलर चाकुओं से हमला करता रहा ,आस पास की जमीन और दीवार उसके खून से रंगती रही ,वो चिल्लती रही लेकिन आस पास के लोग ऐसे वहां से गुजरते रहे जैसे वहां कुछ हुआ ही ना हो. मदद के लिए एक हाथ आगे नहीं आया. ऐसा लगा जैसे सब मुर्दा हों..किसी के कान में (sakshi murder) की आवाज नहीं पहुंच रही हो, सब अंधे हों.किसी की आंखों ने नहीं देखा कि वहां क्या अनर्थ हो रहा है. आमतौर पर तो सड़कों पर भी किसी की किसी से लड़ाई झगड़ा हो जाये तो आस पास के बीस लोग उन्हें घेर कर खड़े हो जाते हैं लेकिन शाहबाद डेयरी के इलाके में रहने वाले लोग इतने संवेदनाशून्य हैं कि इन्हें मर्डर होना भी रोज की बात लगती है.
देखने सुनने वाले ये जान कर हैरान हो सकते हैं लेकिन देश की राजधानी दिल्ली में भी कई ऐसे इलाके हैं जहां के झगड़ों में ना तो पुलिस पड़ती है और ना ही मुहल्लेवाले..सब दो पैरों वाले जानवरों के तरह आंख कान रहते हुए अंधे और बहरे लोग हैं.
राक्षस साहिल ने 16 साल की लड़की को मार डाला
शाहबाद डेयरी में 16 साल की साक्षी को दोस्त कहे जाने वाले साहिल नाम के शख्स ने चाकुओं से गोद कर मार डाला .मारने (Sakshi Murder) के बाद भी दरिंदे साहिल के कलेजे को ठंढ़क नहीं पहुंची तो उसने पास पड़े पत्थर से उसका सिर कुचला, फिर लातों से मारा. उसने हर वो हरकत कर डाली जो दो पैरों वाला वहशी राक्षस कर सकता है.
खिलौने वाली पिस्टल बनी लड़की की मौत की वजह?
कहने वाले कह रहे है कि साक्षी पहले से उस लड़के को जानती थी, उसने उसे छोड़कर दूसरे लड़के से दोस्ती की तो ये साहिल बर्दाश्त नहीं कर सका.
जो जानकारी अब तक सामने आई है उसके मुताबिक हिंदु लड़की साक्षी को जब पता चला कि साहिल उसके धर्म से नहीं आता है तो उसने धर्म के ठेकेदारों के सामने जवाब देने से बेहतर अपने आपको को इन सबसे दूर करने का फैसला लिया. उसने साहिल से किनारा कर लिया. साहिल हाथ में कलावा बांध कर उसे प्यार मुहब्बत का छलावा देता रहा और जब उसके छलावे की पोल खुली तो मजनूं बन कर लड़की को हासिल करने निकल पड़ा. रोज लगातार उसका पीछा करता था,उसे परेशान करता था. परेशान साक्षी ने दोस्त कहे जाने वाले शख्स को लकड़ी की पिस्तौल से डराने की कोशिश की लेकिन उसे कहां पता था कि जिसे वो दोस्त समझ कर समझा रही है, उसके दिमाग मे कुछ दूसरा ही जहर चढ़ा हुआ है.
कैसे धरा गया आरोपी साहिल ?
पुलिस के सूत्रों के मुताबिक सरेआम हत्या को अंजान देने के बाद आरोपी साहिल फरार हो गया था और बुलंदशहर में अपने रिश्तेदार के पास छुप गया था. हालांकि वहां पहुंचकर उसने अपने पिता को फोन कर दिया था और इसके बाद पुलिस ने टेक्निकल सर्विलांस से उसे पकड़ लिया.पुलिस सूत्रों के मुताबिक हत्याकांड को अंजाम देने के बाद साहिल ने अपना मोबाइल ऑफ कर दिया था. जिसके बाद वो बस से बुलंदशहर अपनी बुआ के घर चला गया.
घटना से एक दिन पहले हुई थी लड़ाई
सूत्रों के मुताबिक साक्षी के हाथ पर प्रवीण नाम का टैटू भी बना हुआ था.साक्षी और साहिल पिछले 3 साल से दोस्त थे। साक्षी अब साहिल से अलग होना चाहती थी.लेकिन साहिल इस बात से नाराज़ था. शनिवार को दोनो के बीच झगड़ा भी हुआ था। जिसमे साक्षी ने साहिल को पुलिस में शिकायत करने की धमकी भी दी थी.साहिल इसी बात से साक्षी से नाराज चल रहा था.
साहिल ने ऐसा क्यों किया ?
जिसने भी इस हत्या के बारे में देखा और सुना सब एक ही सवाल का जवाब चाहते हैं कि आखिर एक 20 साल के लड़के में इतनी दरिंदगी कहां से आई , किसने इतना जहर भरा ? किसने उसे इस बात के लिए तैयार किया कि धर्म बदलकर लड़की को अपने जाल में फंसाओ, उसे झांसा दो और जब वो ना माने तो उससे जीवन का हक ही छीन लो.दरिंदे साहिल ने अपना सारा जहर मासूम साक्षी पर उढेल दिया और बेदर्दी से उसकी जान ले ली.हलांकि पुलिस अभी इस मामले में कुछ ज्यादा बताने के लिए तैयार नहीं है. पुलिस का कहना है कि जल्द ही गिरफ्तार साहिल से विस्तार से पूछताछ की जायेगी. फिलहाल आरोपी साहिल को दिल्ली के बाहरी उत्तरी जिले के बवाना थाने मे रखा गया है.
दोस्त के बच्चे की जन्मदिन पार्टी में जा रही थी साक्षी
पुलिस के मुताबिक घटना वाले दिन साक्षी को अपनी दोस्त नीतू के बेटे के जन्मदिन की पार्टी में जाना था और वह शॉपिंग करने के लिए मार्केट गई थी. वहां से वापस आते समय उसने पब्लिक टॉयलेट में जाकर कपड़े बदले और फिर नीतू के घर की तरफ बढ़ गई. बीच रास्ते में आरोपी की उससे मुलाकात हुई और उनके बीच कुछ बातचीत हुई. बताया जा रहा है कि नीतू ने खिलौने वाली पिस्टल आरोपी को दिखाया. इसके बाद आरोपी ने चाकू से ताबड़तोड़ वार करना शुरू कर दिया. पोस्टमार्टम में साक्षी के शरीर पर चाकू के 16 घाव थे.
पुलिस का कहना है कि 16 साल की लड़की साक्षी और 20 साल के साहिल के बीच रिश्ते तनावपूर्ण थे. एक दिन पहले भी उनकी कहासुनी हुई थी और कथित तौर पर दोनों के बीच एक दिन तक कोई बात नहीं हुई थी. इसके बाद उनकी मुलाकात रविवार को रात करीब 9:00 बजे हुई, जब लड़की नीतू के घर पार्टी में शामिल होने के लिए जा रही थी. पुलिस सूत्रों ने बताया कि आरोपी रात को जब लड़की के पास पहुंचा तो लड़की के पास खिलौने वाली बंदूक थी और उसने बंदूक से आरोपी को डराने वाला मजाक किया था.
पोस्टमार्टम में 16 बार चोकू मारने और skull rupture की बात
पोस्टमोर्टम रिपोर्ट में 16 साल की साक्षी को 16 बार चाकू मारने की बात सामने आई है. शुरुवाती रिपोर्ट में आया है कि किसी blunt object से लड़की के सिर पर हमला किया गया था, जिससे skull rupture हुआ है. पुलिस का मानना है कि ऐसा पत्थर से मारने के कारण हुआ है. सीसीटीवी में दिख रहा है कि आरोपी साहिल ने लड़की को चाकू और पत्थर से मारा है.
बहरहाल हत्या अब पोस्टमार्टम रिपोर्ट और पूछताछ की कानूनी कार्रवाई होती रहेगी लेकिन एक सवाल अब भी वहीं है कि चाहे किसी की किसी से जान पहचान हो, तब भी क्या सरेआम किसी को किसी के साथ कुछ भी करने का हकदार मिल जाता है. एक लड़की पर एक लड़का सरेआम चाकुओं से हमला कर रहा हो और लोग ये सोच कर आगे बढ़ जाये कि यो तो होता ही रहता है तो ये मान लेना चाहिये कि जहां सब हो रहा है वो इंसानों की बस्ती नहीं है.यहां रहने वाले लोग इंसान कहलाने के लायक नहीं है. उन्हें भी उसी तरह की सजा मिलनी चाहिये जो साहिल जैसे राक्षस को मिलेगी.ताकि समाज को ये याद रहे कि उन्हों सामाजिक प्राणी कहलाने का हर खो दिया है.
एक समाज में रहने पर दोस्ती हो सकती है ,लेकिन समाज के अंदर जो लव जेहाद, हिंदु मुस्लिम का जहर भर रहा है वो इसी तरह किसी साक्षी को मौत की नींद सुलाता रहेगा, इस तरह कोई साहिल महज 20 साल की उम्र में ताउम्र जेल की सलाखों की पीछे से काले आसमान में अपने आप को तलाशता रहेगा. ये उन्माद है या कोई सोची समझी साजिश ये तो जांच के बाद पता लगेगा, लेकिन इतना तो सच है कि ये चाहे जो कुछ भी हो ये प्रेम और प्रेम का जनून नहीं है.