सोमवार शाम से ही पंजाब नेशनल बैंक में 13,000 करोड़ रुपये के घोटाले में भगोड़े हीरा कारोबारी मेहुल चोकसी का नाम इंटरपोल डेटाबेस से हटा दिया जाने की खबर के बाद से विपक्ष सरकार को लेकर हमलावर हो गया है.
मल्लिकार्जुन खड़गे का केंद्र सरकार पर निशाना
सुबह कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने इसको लेकर शायराना अंदाज में एक ट्वीट किया. खड़गे ने लिखा, “विपक्षी नेताओं के लिए ED-CBI, पर मोदी जी के “हमारे मेहुल भाई” के लिए इंटरपोल से रिहाई ! जब “परम मित्र” के लिए कर सकते हैं संसद ठप्प, तो “पुराना मित्र” जिसको किया था 5 साल पहले फ़रार, भला उसकी मदद से कैसे करें इंकार? डूबे देश के हज़ारों-करोड़, “न खाने दूंगा” बना जुमला बेजोड़ ! ”
विपक्षी नेताओं के लिए ED-CBI, पर मोदी जी के “हमारे मेहुल भाई” के लिए इंटरपोल से रिहाई !
जब “परम मित्र” के लिए कर सकते हैं संसद ठप्प,
तो “पुराना मित्र” जिसको किया था 5 साल पहले फ़रार,
भला उसकी मदद से कैसे करें इंकार?डूबे देश के हज़ारों-करोड़,
“न खाने दूंगा” बना जुमला बेजोड़ !— Mallikarjun Kharge (@kharge) March 21, 2023
डाकुओं को बचाना और सन्यासी को जेल में डालना यह BJP की नीति- नाना पटोले
वहीं मेहुल चौकसी का नाम इंटरपोल रेड कॉर्नर नोटिस से हटाने पर महाराष्ट्र कांग्रेस अध्यक्ष नाना पटोले ने भी सरकार पर निशाना साधा. नाना पटोले ने कहा, “डाकुओं को बचाना और सन्यासी को जेल में डालना यह BJP की नीति है. अपने पद का दुरुपयोग कैसे करना है इसके बारे में मोदी जी ने कई बार बताया है.”
उन्होंने आगे कहा कि “अडानी और मोदी जी के संबंध क्या हैं? राहुल गांधी के इस सवाल पर उन्हें परेशान किया जाता है. सरकार ने जान बूझकर यह किया है मेहुल चौकसी मोदी जी के मित्र है.”
मेहुल चोकसी इंटरपोल सूची से बाहर, अब दुनिया भर में उड़ान भर सकता है
बताया जा रहा है कि पंजाब नेशनल बैंक में 13,000 करोड़ रुपये के घोटाले में भगोड़े हीरा कारोबारी मेहुल चोकसी का नाम रेड नोटिस के इंटरपोल डेटाबेस से हटा दिया गया है. चोकसी ने ल्योन-मुख्यालय एजेंसी को याचिका दे अपना नाम हटाने की मांग की थी. समझा जा रहा है कि यहीं से उसका नाम इंटरपोल की सूची से हटाया गया है.
हलांकि केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने इस मामले पर चुप्पी साध रखी है.
आपको बता दें रेड नोटिस 195-सदस्यीय देश-मजबूत इंटरपोल द्वारा दुनिया भर में कानून प्रवर्तन एजेंसियों को प्रत्यर्पण, आत्मसमर्पण या इसी तरह की कानूनी कार्रवाई के लिए लंबित व्यक्ति का पता लगाने और अस्थायी रूप से गिरफ्तार करने के लिए जारी किया गया अलर्ट का उच्चतम रूप है.
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