नेपाल में माओवादियों की वापसी हुई है. पुष्प कमल दहल उर्फ प्रचंड ने सोमवार को राष्ट्रपति कार्यालय में प्रधानमंत्री पद और गोपनीयता की शपथ ली.
इस मौके पर प्रचंड (Prachand) ने पारंपरिक नेपाली पोशाक दौरा सुरुवाल पहन रखी थी, ये पहला मौका था जब प्रचंड पारंपरिक पोशाक में शपत लेने पहुंचे. राष्ट्रपति बिद्या देवी भंडारी ने अपने शीतल निवास में नए प्रधानमंत्री प्रचंड को पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई.
3 उप प्रधानमंत्री और 4 मंत्रियों ने भी ली शपथ
प्रधानमंत्री प्रचंड (Prachand) के साथ ही तीन उप प्रधानमंत्रियों बिशु पोडेल, नारायण काजी श्रेष्ठ और रबी लामिछाने ने भी पद की शपथ ली. इसी अलावा चार मंत्रियों राजेंद्र राय, दामोदर भंडारी, ज्वाला कुमारी शाह और अब्दुल खान ने भी पद और गोपनीयता की शपथ ली.
के.पी. शर्मा ओली कार्यकाल के दूसरे भाग में बनेंगे प्रधानमंत्री
आपको बता दें प्रचंड (Prachand) को नेपाल के संविधान के अनुच्छेद 76 (2) के अनुसार देश का नया प्रधानमंत्री नियुक्त किया गया था.
आपको बता दें तत्कालीन सत्तारूढ़ गठबंधन टूटने के बाद प्रंचड की नेपाली कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष शेर बहादुर देउबा कुछ शर्तों पर सहमत हुई. इसके बाद ही प्रचंड (Prachand) ने सीपीएन-यूएमएल के अध्यक्ष के.पी. शर्मा ओली से संपर्क किया और एक समझौते के तहत ये तय हुआ कि, सरकार के कार्यकाल के दूसरे भाग के ओली प्रधानमंत्री का पद संभालेंगे.
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प्रचंड के पास किस किस का समर्थन हैं
सीपीएन-यूएमएल के 78, सीपीएन (माओवादी सेंटर) के 32, राष्ट्रीय स्वतंत्र पार्टी के 20, आरपीपी के 14, जनमत पार्टी के 6, नागरिक उन्मुक्ति पार्टी के 4 और जनता समाजवादी पार्टी के 12 लोगों ने प्रचंड (Prachand) को तीसरी बार नेपाल का प्रधानमंत्री बनाए जाने का समर्थन किया है.