Thursday, December 19, 2024

दुनिया का सबसे बड़ा Fraud है अडानी ग्रुप? हिंडनबर्ग रिसर्च में हुआ खुलासा, एक झटके में 7 अरब डॉलर का नुकसान

न्यूटन के लॉ ऑफ ग्रेविटी में एक बात बिलकुल साफ़ है कि जो चीज़ जितनी तेजी से ऊपर की तरफ जाती है. वो चीज उससे भी ज्यादा तेज़ी से नीचे आती है. कुछ ऐसा ही हो रहा है दुनिया के तीसरे सबसे अमीर शख्स गौतम अडानी और उनकी अडानी ग्रुप के साथ. एक रिसर्च रिपोर्ट ने अडानी ग्रुप की नींव हिलाकर रख दी है. अडानी ग्रुप पर अमेरिकी फाइनेंशियल रिसर्च कंपनी हिंडनबर्ग रिसर्च ने आरोप लगाया है कि अडानी ग्रुप शेयरों में गड़बड़ी और अकाउंट धोखाधड़ी’ में शामिल रहा है. हालांकि अडानी ग्रुप ने इस आरोप को पूरी तरह से बेबुनियाद बताया. उसने कहा कि यह कुछ और नहीं बल्कि उसकी शेयर बिक्री को नुकसान पहुंचाने के गलत इरादे से किया गया है. अडानी ग्रुप के लीगल हेड जतिन जालुंधवाला ने कहा कि हिंडनबर्ग रिसर्च पर कानूनी कार्रवाई की जाएगी.

क्या है मामला ?

Hindenburg: कभी एंबुलेंस ड्राइवर थे Nathan Anderson, अब करते हैं कंपनियों में गड़बड़ी का खुलासा, एक रिपोर्ट से अडानी के करोड़ों के शेयर धराशायी - Hindenburg ...

दरअसल अमेरिकी रिसर्च एजेंसी हिंडनबर्ग की रिपोर्ट के अनुसार 17,800 अरब रुपये यानी की करीब 218 अरब डॉलर की कीमत वाला अडानी ग्रुप कई सालों से शेयरों में गड़बड़ी और लेखा धोखाधड़ी’ में शामिल रहा है. आसान शब्दों में कहें तो रिपोर्ट के मुताबिक अडानी ग्रुप ने विदेशों में कई कंपनियां बनाकर टैक्स बचाने का काम किया है. जैसे कि मॉरिशस और कैरेबियाई जैसे देशों में कई बेनामी कंपनियां हैं, जिनकी अडानी ग्रुप की कंपनियों में हिस्सेदारी है. एक आरोप ये भी है कि अडानी की लिस्टेड कंपनियों पर भारी कर्ज है, जिसने पूरे ग्रुप को एक गंभीर वित्तीय स्थिति में डाल दिया है जो स्थिर नहीं है.

यह रिपोर्ट ऐसे समय में आई है जब अडानी ग्रुप की प्रमुख कंपनी अडानी एंटरप्राइजेज का 20,000 करोड़ रुपये का एफपीओ लॉन्च होने वाला है. कंपनी का एफपीओ 27 जनवरी को खुलेगा और 31 जनवरी को बंद होगा. ऐसे में ये रिपोर्ट अडानी ग्रुप के लिए खतरे की घंटी बनकर सामने आई है . जिसकी वजह से पूरा अडानी ग्रुप ना केवल बुरी तरह से हिल गया है बल्कि शेयरों में भी काफी ज्यादा गिरावट हुई है. जिसकी वजह से अडानी ग्रुप को एक झटके में करोड़ों का नुकसान हुआ है.

अडानी ग्रुप को भारी नुकसान

हिंडनबर्ग की रिपोर्ट से होने वाली शेयर की गिरावट की बात की जाए तो सिर्फ बुधवार यानी 25 जनवरी 2023 को ही गौतम अडानी को करीब 7 अरब डॉलर का नुकसान हुआ है. वहीं शुक्रवार की गिरावट में भी उनको भारी नुकसान हो रहा है.

अडानी ग्रुप ने क्या कहा है

हिंडनबर्ग रिपोर्ट पर सफाई देते हुए अडानी ग्रुप का कहना है कि रिपोर्ट बेबुनियाद है. अडानी ग्रुप के जो तथ्य रिपोर्ट में दिए गए हैं उन तथ्यों की पुष्टि के लिये कंपनी से कोई संपर्क नहीं किया गया और यह चैंकाने वाला और परेशान करने वाला खुलासा है. पोर्ट से लेकर एनर्जी सेक्टर में काम कर रहे अडानी ग्रुप ने कहा कि “ये रिपोर्ट चुनिंदा, गलत और निराधार सूचनाओं को लेकर तैयार की गयी है और जिसका मकसद पूरी तरीके से उन्हें नुकसान पहुंचाना है. रिपोर्ट में उन बातों का ज़िक्र है जिन्हें भारत की अदालतों ने भी खारिज कर दिया है.”
वहीं अडानी ग्रुप के लीगल हेड जतिन जालुंधवाला ने कहा है कि ये सभी आरोप बेबुनियाद हैं. रिसर्च रिपोर्ट जानबूझकर अडानी एंटरप्राइजेज के 20 हजार करोड़ के एफपीओ लॉन्च होने से ठीक पहले जारी की गई है, ताकि अडानी ग्रुप को आर्थिक नुकसान पहुंचाया जा सके. ऐसे में अब अडानी ग्रुप हिंडनबर्ग रिसर्च पर केस करेगी. वहीं हिंडनबर्ग रिसर्च ने अडानी ग्रुप की चुनौती का स्वागत किया है. हिंडनबर्ग रिसर्च का कहना है कि पूरी रिसर्च रिपोर्ट फैक्ट पर आधारित है इसीलिए कंपनी को कानूनी लड़ाई का डर नहीं है.

कौन है नाथन एंडरसन?

Nathan Anderson, the Hindenburg founder taking on Spacs | Financial Times

दरअसल अपने एक रिपोर्ट से अडानी का साम्राज्य तबाह करने वाले का नाम है नाथन एंडरसन. हिंडनबर्ग रिसर्च के कर्ताधर्ता हैं नाथन एंडरसन. नाथन एंडरसन अडानी से पहले 36 बड़ी धोखेबाज कंपनियों की पोल खोल कर ठिकाने लगा चुके हैं. नाथन के बारे में कहा जाता है कि वो जिस कंपनी के पीछे पड़ जाते हैं उसका पूरा हिसाब किताब ढ़ूंढ़ कर निकाल लेते हैं. ऐसा करने में वो अपने पैसे भी खर्च करते हैं और फिर फ्रॉड कंपनी को दुनिया के सामने एक्सपोज कर देते हैं. हिंडनबर्ग रिसर्च को शुरू करने से पहले नाथन एंडरसन हैरी मार्कोपोलस के साथ काम करते थे. हैरी मार्कोपोलस अमेरिकी संस्था सेक के अधिकारी रह चुके हैं. जैसे भारत में सेबी एक संस्था है वैसे ही अमेरिका में सेक एक बड़ी संस्था है. सेक में अपने कार्यकाल के दौरान हैरी मार्कोपोलस ने कई फ्रॉड कंपनी और फर्जी स्कीम का पर्दाफाश किया था. उस वक्त नाथन एंडरसन उनके साथ काम करते थे. इसीलिए नाथन हैरी मार्कोपोलस को अपना गुरु मानते हैं जबकि गुरु अपने चेले को अपने से भी बड़ा मानते हैं. मार्कोपोलस का कहना है कि “ नाथन एंडरसन कुछ भी खोद कर निकाल सकते हैं. अगर उन्हें किसी घोटाले की भनक भी लग जाए तो वो उसकी पोल खोल कर ही दम लेते हैं.”
नाथन एंडरसन की रिसर्च इतनी पक्की और विश्वसनीय होती है कि दुनिया के तमाम मीडिया ग्रुप उनके रिसर्च को हाथों हाथ लेते हैं और इसीलिए हिंडनबर्ग की इस रिपोर्ट ने अडानी ग्रुप की नींव हिला दी है.ये जानते हुए कि हिंडनबर्ग की रिसर्च रिपोर्ट को पूरी दुनिया मानती है इसके बावजूद अडानी ग्रुप ने हिंडनबर्ग रिसर्च रिपोर्ट को चुनौती दी है लेकिन चुनौती के इस खेल में जहां एक तरफ हिंडनबर्ग रिसर्च कंपनी खड़ी है वहीं दूसरी तरफ खड़ा है दुनिया का तीसरा सबसे अमीर शख्स. जिसे उस रिपोर्ट कि वजह से करोड़ों का घाटा हुआ है और ये नुकसान अभी थमता नहीं दिख रहा.

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