दिल्ली एनसीआर में दम घोंटू प्रदूषण अब खतरनाक स्तर को भी पार कर गया है. दिल्ली के साथ-साथ आस पास के इलाकों में भी हवा की क्वालिटी का इंडेक्स 500 सौ पार होने जा रहा है.
जब तक पंजाब में कांग्रेस की सरकार थी, दिल्ली के मुख्यमंत्री पंजाब को पराली के लिए कोसते नजर आते थे. दिल्ली के मुख्यमंत्री ने हर साल कह कि दिल्ली एनसीआर में प्रदूषण पंजाब मे पराली जलाने के कारण बढ़ता है. लेकिन जब इस साल दीवाली के बाद प्रदूषण का स्तर जानलेवा हुआ है तो दिल्ली के मुख्यमंत्री पंजाब के मुख्यमंत्री का बचाव करते नजर आ रहे हैं.
दिल्ली के मुख्यमंत्री ने पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान का एक ट्वीट रीट्वीट किया है जिसमें भगवंत मान कहते नज़र आ रहे है कि “हमने केंद्र सरकार को कई सुझाव दिए लेकिन उन्होंने हमारी बात नहीं मानी। सिर्फ दिल्ली और पंजाब पर ही सवाल क्यों उठाए जा रहे हैं? हरियाणा और राजस्थान में भी कई शहर हैं जहां AQI खराब हैं, केंद्र सरकार उन पर कोई सवाल क्यों नहीं उठा रही है?”
प्रदूषण से राजनीति मत करो। प्रदूषण केवल दिल्ली और पंजाब में नहीं है, पूरे उत्तर भारत में है। किसान को गालियाँ मत दो। उस पर FIR मत करो। पंजाब और दिल्ली के लोग अपने स्तर पर सभी कदम उठा रहे हैं। केंद्र को आगे आकर सभी राज्य सरकारों के साथ मिलकर समाधान निकालना होगा। pic.twitter.com/3vedpdkMZf
— Arvind Kejriwal (@ArvindKejriwal) November 2, 2022
‘रेडलाइट ऑन गाड़ी ऑफ’ योजना के लिए एलजी पर बना रहे दबाव
गौरतलब है कि एक तरफ दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए लगातार दिल्ली के एलजी पर ‘रेडलाइट ऑन गाड़ी ऑफ’ जैसे प्रपोजल की फाइल रोकने का आरोप लगा रहे हैं वहीं दूसरी ओर अपनी पार्टी की सरकार होने के कारण पंजाब में पराली से हो रहे प्रदूषण पर पंजाब के मुख्यमंत्री का बचाव भी कर रहे हैं. जबकी विशेषज्ञों का मानना है कि दिल्ली में दीवाली के बाद प्रदूषण बढ़ने का एक बड़ा कारण इस साल भी पराली का जलना ही है.
केंद्र की वजह से जल रही है पंजाब में पराली- पर्यावरण मंत्री गोपाल राय
सिर्फ दिल्ली के मुख्यमंत्री नहीं दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय भी केंद्र पर निशाना साध रहे है. गोपाल राय ने एक बायन देकर कहा कि “केंद्र सरकार को अपनी गलती के लिए किसानों से माफी मांगनी चाहिए. आपकी वजह से आज पंजाब में पराली जल रही है. जब किसान तैयार थे, पंजाब सरकार तैयार थी, दिल्ली सरकार तैयार थी, अगर आपने सहयोग किया होता तो आज पंजाब में पराली की घटनाएं आधी हो चुकी होती”