दरभंगा ( संवाददाता- सुभाष शर्मा) आज दिल्ली में I.N.D.I.A. गठबंधन की चौथी बैठक हुई . बैठक में गठबंधन में आगे की रणनीति को लेकर कई बातोों पर फैसला हुआ. पिछले महीने हुए पाँच राज्यों के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की हार के बाद जेडीयू के नेता नीतीश कुमार के नाम का राग अलाप रहे हैं. उनका मानना है कि प्रधानमंत्री के पद के लिए नीतीश कुमार सबसे प्रबल दावेदार है लेकिन जन सुराज के सूत्रधार प्रशांत किशोर की राय अलग है. उन्होंने कहा देश की राजनीति में नीतीश कुमार को कौन पूछ रहा है ? बिहार की इन पार्टियों की क्या ही भूमिका हो सकती है, ये तो अपने मुंह मियां मिट्ठू बन रहे हैं. बिहार के नेताओं की I.N.D.I.A गुट में कोई भूमिका नही है.
दरभंगा में पत्रकार वार्ता के दौरान रखी अपनी बात
दरअसल दरभंगा के ताराडीह प्रखंड में पत्रकार वार्ता के दौरान प्रशांत किशोर ने कहा कि जहां तक बात I.N.D.I.A गुट में प्रधानमंत्री पद के लिए रस्साकशी की है तो अभी तो I.N.D.I.A. गुट की तीन चार बैठकें हो चुकी है ,फिर भी गठबंधन को लेकर अभी तक कोई कार्यक्रम तय नहीं हुआ है. ना तो सीट एडजस्टमेंट तय हुआ और ना ही इस बात का पता है कि गठबंधन में शामिल पार्टियां चुनाव कैसे लड़ेंगी ? इस लिए इस गठबंध से क्या उम्मीद की जा सकती है.पत्रकार वार्ता में उन्होंने अप्रत्यक्ष तौर पर कहा I.N.D.I.A गठबंधन में बिहार के राजनैतिक दलों की कोई भूमिका नहीं है.
I.N.D.I.A गठबंधन में सबसे बड़ा दल कांग्रेस
उन्होंने कहा गठबंधन की सबसे बड़ी पार्टी होने के नाते स्वाभाविक तौर पर I.N.D.I.A गुट का नेतृत्व भी कांग्रेस के पास ही रहेगा. चाहे दूसरी पार्टी कितना भी हल्ला मचा ले कांग्रेस को छोड़कर कोई भी दूसरा दल कैसे I.N.D.I.A गुट का नेतृत्व करेगा ? अगर किसी किसी तरह मान लीजिए कि कांग्रेस छोड़ भी दे तो दूसरा बड़ा दल टीएमसी है उसके बाद तीसरा बड़ा दल डीएमके है. फिर बिहार के दलों का तो I.N.D.I.A गुट में बचा ही क्या है? अभी भी बिहार में तो 40 में से 39 सांसद एनडीए गठबंधन के ही जीते हुए हैं. प्रशांत किशोर ने कहा कि पहले पार्टियां गठबंधन बनाएंगे, चुनाव लड़ेंगे और जीतेंगे उसके बाद प्रधानमंत्री पद की बात होगी.
प्रशांत किशोर ने RJD पर भी कसा तंज
RJD पर तंज कसते हुए प्रशांत किशोर ने कहा कि जिस पार्टी का लोकसभा में जीरो सांसद हैं और वो बता रहे हैं कि देश का प्रधानमंत्री कौन होगा, तो ये बड़बोलापन ही कहा जाएगा ना भाई. आपको पूछ कौन रहा है? प्रधानमंत्री कौन बनेगा ये तय तो वो पार्टियां कर सकती हैं जिनके सांसद जीतकर आते हैं. आपका जीरो सांसद जीता हुआ है और आप कह रहे हैं कि प्रधानमंत्री कौन होगा? ये तो ऐसे हुआ कि हम यहां से बैठकर कहें कि अमेरिका का राष्ट्रपति कौन होगा? ये तो आपकी मानसिकता को दिखाता है कि आपको न किसी बात की समझ है और न ही सोच है और बेवजह की बात किए जा रहे हैं.