Delhi Birsa Munda Chowk : दिल्ली के सराय काले खां चौक का नाम बदल दिया गया है. इस चौक का नाम बदल कर इसका नाम बदलकर बिरसा मुंडा चौक कर दिया गया है. नये नामकरण का ऐलान गृहमंत्री अमित शाह की मौजूदगी में शहरी मामलों के मंत्री मनोहर लाल खट्टर ने किया. सरकार ने सराय काले खां का नाम शुक्रवार को झारखंड के आदिवासी नेता बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती के मौके पर किया गया.
Delhi Birsa Munda Chowk : विधानसभा चुनाव के बीच मोदी सरकार की झारखंड को सौगात
आपको बता दें कि इस समय झारखंड में विधानसभा के चुनाव चल रहे हैं और 20 नवंबर को यहां दूसरे चऱण की वोटिंग होने जा रहे हैं. झारखंड चुनाव के मद्देनजर जनता को लुभाने के लिए सरया काले खां का नाम बदलकर बिरसा मुंडा के नाम पर रखना केंद्र की मोदी सरकार के एक प्रयास के रुप में देखा जा रहा है.
‘जन कल्याण के इलाके से विकास के लिए बदला नाम ‘
नाम बदलने के कार्यक्रम को संबोधित करते हुए गृहमंत्री अमित शाह ने कहा, ‘जब सरकार मन में जन कल्याण का उद्देश्य लेकर निकलती है तो जैसे सराय काले खां का विकास किया गया है, इस तरह से ही विकास होता है. बिरसा चौक( पुरान नाम सराय काले खा) का ये पार्क इसका उदाहरण है.
75 साल में भाजपा ने पहला आदिवासी राष्ट्रपति बनाया
गृहमंत्री शाह ने कहा कि झारखंड के वीर आदिवासी नेता सिद्धों-कानू या बिरसा मुंडा हो, राजस्थान का आंदोलन, तेलंगाना, महाराष्ट्र, राजस्थान या मध्य प्रदेश हो, इन जगहों पर आदिवासियों के नेतृत्व में आंदोलन चले. पूर्वोत्तर में नागा, खासी में आदिवासी आंदोलन चला लेकिन दुर्भाग्य रहा कि इन लोगों के नाम भुला दिये गये. अमित शाह ने कहा कि केंद्र की मोदी सरकार 2014 से अपने हीरोज को याद करने का काम कर रही है. आदिवासियों से जुड़े 3 संग्रहालयों का निर्माण किया जा रहा है. 2026 से पहले तीनों संग्रहालयों को जनता के लिए खोल दिया जायेगा. गृहमंत्री मंत्री शाह ने कहा हमारे देश में पहली बार 75 साल में किसी आदिवासी को मोदी सरकार ने राष्ट्रपति बनने का मौका दिया है..