छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिले में नक्सलियों ने एक बार फिर कायराना करतूत को अंजाम दिया. पुलिस मुखबिरी के आरोप में नक्सलियों ने दो ग्रामीणों की निर्मम हत्या कर दी. घटना तर्रेतम थाना क्षेत्र के छुटवाई गांव की है. हत्या की जिम्मेदारी स्मॉल एक्शन जगरगुंडा एरिया कमेटी ने ली है. राज्य के उपमुख्यमंत्री अरूण साव ने इस घटना की निंदा की और कहा कि नक्सली बौखलाहट में कायराना हरकत कर रहे हैं. अभी तीन दिन पहले ही नारायणपुर जिले में सुरक्षाबलों ने मुठभेड़ में सात नक्सलियों को मार गिराया था.
इस घटना की उपमुख्यमंत्री अरुण साव ने कड़ी निंदा की है. उन्होंने कहा कि सशस्त्र नक्सलवाद अब अपने अंतिम समय पर है. बौखलाहट में आकर नक्सली कायराना हरकत कर रहे हैं. सुरक्षा बल पूरी सावधानी और सजगता से कार्रवाई कर रहे हैं. नक्सलियों के इस कायराना करतूत से बस्तर की जनता डरने वाली नहीं है.
इस नक्सली संगठन ने ली जिम्मेदारी
ग्रामीणों की हत्या की वारदात की जिम्मेदारी कम्युनिस्ट पार्टी (माओवादी) जगारगुंडा एरिया कमेटी ने ली है. हत्या के बाद घटनास्थल से पर्ची मिली है, जिसमें बताया गया कि कुरसम मंगलू पुलिस मुखबिरी में शामिल है. कई बार उसे समझाइश दी गई, लेकिन नहीं मानने पर अब मौत की सजा दी गई.
बताया जा रहा है कि कुरसाम मंगलू का बेटा नंदू पहले ही सरेंडर कर चुका है. घटना के समय नंदू घर पर मौजूद नहीं था. आशंका है कि माओवादी उसकी तलाश में आए थे, लेकिन जब वह नहीं मिला तो उन्होंने उसके पिता कुरसाम मंगलू की हत्या कर दी.
3 दिन पहले मुठभेड़ में 7 नक्सली हुए थे ढेर
अभी तीन दिन पहले नारायणपुर जिले में जवानों को बड़ी सफलता मिली थी. जवानों ने मुठभेड़ में छह नक्सलियों को मार गिराया था. इन सभी नक्सलियों की पहचान भी हो गई थी. मारे गए नक्सलियों में तीन महिला नक्सली भी शामिल थीं. सभी के सिर पर आठ-आठ लाख रुपए का इनाम घोषित था. इस एनकाउंटर में नक्सलियों का एक टॉप कमांडर भी ढेर हुआ था.