दिल्ली :28 मई को नये संसद भवन (New Parliament) के उद्घाटन के मामले में दायर जनहित याचिका पर आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई होगी. ये याचिका सुप्रीम कोर्ट वकील सीआर जया सुकीन ने दाखिल की है.याचिका में कहा गया है कि नई संसद भवन (New Parliament) के उद्घाटन में देश के महामहीम राष्ट्रपति को ना बुलाकर संविधान का उल्लंघन किया गया है. ऐसा करके देश में संविधान का सम्मान नहीं किया जा रहा है .
Supreme Court to hear tomorrow a PIL seeking a direction that the new Parliament building should be inaugurated by the President of India Droupadi Murmu on May 28.
— ANI (@ANI) May 25, 2023
ये भी पढ़े :-
New Parliament Inauguration: नई संसद के उद्घाटन का मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचा, वित्त मंत्री…
21 दलों ने किया विरोध,मायावती का सरकार को मिला साथ
लोकतंत्र के नये मंदिर यानी New Parliament Building के उद्घाटन को लेकर देश की लगभग तमाम विपक्षी पार्टियों ने बायकॉट का ऐलान किया है. कांग्रेस समेत 21 विपक्षी पार्टियों ने नई संसद भवन के उद्घाटन समारोह का बहिष्कार करने का ऐसान किया है. विपक्षी दलों का कहना है कि संसद भवन परिसर किसी भी पार्टी से उपर है, ये सभी पार्टियों का है . ऐसे में इस भवन के उद्घाटन का अधिकार राष्ट्रपति को होना चाहिये . प्रधानमंत्री इस भवन का उद्घाटन करें ये संविधान सम्मत नहीं है. विपक्षी दलों ने ऐलान किया है कि जब 28 मई को प्रधानमंत्री संसद भवन का उद्घाटन करेंगे तो 21 विपक्षी दलों के संसद सदस्य वहां उपस्थित नहीं होंगे. लेकिन गुरुवार को एक खास घटनाक्रम में बीएसपी प्रमुख मायावती ने मोदी सरकार के फैसले का समर्थन किया है. उन्होने नई संसद भवन के उद्घाटन में बीजेपी के साथ रहने का इशारा दिया है.
1. केन्द्र में पहले चाहे कांग्रेस पार्टी की सरकार रही हो या अब वर्तमान में बीजेपी की, बीएसपी ने देश व जनहित निहित मुद्दों पर हमेशा दलगत राजनीति से ऊपर उठकर उनका समर्थन किया है तथा 28 मई को संसद के नये भवन के उद्घाटन को भी पार्टी इसी संदर्भ में देखते हुए इसका स्वागत करती है।
— Mayawati (@Mayawati) May 25, 2023
योगी आदित्यनाथ ने विपक्ष के व्यवहार की निंदा की
वहीं विपक्षी दलो के बहिष्कार के फैसले की बीजेपी के तमाम बड़े नेताओं ने निंदा की है . उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि, “स्वतंत्र भारत के इतिहास में 28 मई की तिथी एक गौरवशाली दिन के रूप में दर्ज़ होने जा रही है. इस दिन प्रधानमंत्री मोदी भारत के लोकतंत्र की प्रतीक भारत वासियों को नई संसद भेंट करेंगे. इस ऐतिहासिक अवसर को गरिमामय और गौरवशाली बनाने की बजाए, कांग्रेस समेत विपक्षी दलों द्वारा जिस तरह की बयानबाजी हो रही है वह अत्यंत दुखद, गैर जिम्मेदाराना और लोकतंत्र को कमज़ोर करने वाला है.”
Brij Bhushan Singh: फिर बिगड़े सांसद के बोल, पॉक्सो एक्ट को बताया गलत, विनेश…
कांग्रेस का दोमुंहापन – हरदीप पुरी , केंद्रीय मंत्री
वहीं वहीं केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने इसे ये कांग्रेस का दोगलापन बताया. उन्होंने (विपक्षी दलों ने) संविधान से कुछ अनुच्छेद बोले और उस आधार पर हमें सलाह दे रहे. उस समय भी इंदिरा गांधी ने (संसद के उपभवन के उद्घाटन के दौरान) किया था. आपके पास अपने लिए अलग मानक हैं और दूसरों के लिए अलग. यह देश और किसी भी व्यक्ति के जीवन में एक बार आने वाला क्षण है. फ़ुटनोट में कहीं लिखा जाएगा कि इन लोगों द्वारा संसद भवन के खुलने के कार्यक्रम का बहिष्कार किया था.