Delhiliquor Policy ALL Granted Bail : दिल्ली शराब घोटाला मामले के आरोपी बिजनेसमैन अमित अरोड़ा और अमनदीप सिंह ढल को दिल्ली हाईकोर्ट से पीएमएलए के एक मामले में नियमित जमानत मिल गई है. इन दोनों की जमानत के साथ ही कथित दिल्ली शराब घोटाला मामले के सभी आरोपियों को प्रवर्तन निदेशायल (ED) की गिरफ्तारी को रद्द करते हुए जमानत दे दी गई है. हाईकोर्ट से मिले बेल के बाद सभी आरोपी जेल से बाहर आ चुके हैं.
Delhiliquor Policy ALL Granted Bail : दिल्ली हाईकोर्ट से मिली जमानत
दिल्ली शराब घोटाला मामले में मनीष सिसोदिया और अरविंद केजरीवाल की जमानत के बाद दो बिजनसमैन अमित अरोड़ा और अमनदीप सिंह ढल को भी हाईकोर्ट से जमानत मिल गई है. इन दोनो आरोपियो को जस्टिस नीना बंसल कृष्णा के कोर्ट से जमानत मिली है.
2 साल पहले 2022 में गिरफ्तार हुए थे बिजनसमैन अमित अरोड़ा
दिल्ली में 2021-22 के आबकारी नीति मामले में अनियमितता के आरोप में सीबीआई और इडी ने कई सरकारी अधिकारियों और कंपनी के डायरेक्टर्से को गिरफ्तार किया था. आरोप लगे कि सरकारी प़लिसी की आड में इन्होंने लाइसेंस धारकों ने अनुचित लाभ उठाया. दिल्ली सरकार ने 17 नवंबर 2021 को प्रदेश में नई एक्साइज पॉलिसी लागू की थी, लेकिन लगातार लग रहे भ्रष्टाचार के आरोपों के बाद सरकार ने इस पॉलिसी को सितंबर 2022 में रद्द कर दिया.
दिल्ली आबकारी नीति के मामले में आरोप था कि दिल्ली सरकार के मुखिया और उनके मंत्रिमंडल के सदस्यों ने कुछ बिजनेसमैन और लाइसेंस धारकों को इस पॉलिसी के जरिये फायदा पहुंचाया था. इसी सिलसिले में इडी ने गुरुग्राम की बडी रिटेल कंपनी के डायरेक्टर अमित अरोड़ा को 29 नवंबर, 2022 को PMLA (धन शोधन निवारण अधिनियम) के अंदर गिरफ्तार किया था. जांच के दौरान सीबीआई ने दावा किया कि अमित अरोड़ा दिल्ली के शिक्षामंत्री मनीष सिसोदिया के करीबी थे और दोनों ने मिलकर शराब लाइसेंस धारकों से पैसे लिए और अवैध धन का प्रबंधन और उसकी हेराफेरी की .
शराब नीति मामले में गिरफ्तार सभी आरोपियों को मिली बेल
दिल्ली शराब नीति मामले में एक एक करके सभी आरोपियों को जमानत मिल गई है.सबसे पहले संजय सिह, फिर मनीष सिसोदिया, फिर के कविता, फिर दिल्ली सीएम अरविंद केजरीवाल को बेल मिली. दिल्ली सीएम अरविंद केजरीवाल को शुक्रवार को जमानत मिली.
रद्द हो चुकी दिल्ली शराब नीति को लेकर क्यों इतनी उग्र रही जांच एजेंसी?
दरअसल दिल्ली सरकार ने 2021 में नई शराब नीति बनाई और उसे लागू किया. नवंबर 2021 में दिल्ली में शराब की 864 दुकानें थीं, जिनमें 475 सरकारी दुकान थी. 2021 में शराब नीति बनाकर सरकार पूरी तरह से इस कारोबार से बाहर आ गई और शराब के कारोबार को पूरी तरह से प्राइवेट कर दिया गया. दिल्ली की नई शराब नीति आने से पहले 750 एमएल की एक शराब की बोतल पर कारोबारियों को 33.35 रुपये का मार्जिन मिलता था, वहीं नई शऱाब नीति लागू होने के बाद ये मुनाफा 363.27 रुपये तक हो गया.
विपक्ष का आरोप था कि केजरीवाल की सरकार शराब नीति की आड में करोड़ों का घूस खा रही है और मनचाहे शराब व्यापारियों से फायदा उठाने के लिए उन्हें नये नियम की आड में करोड़ों के फायदा पहुंचा रही है. विरोधियों के लगातार आरोपों के बाद केजरीवाल सरकार ने नई नीति को रद्द कर दिया. नीति के रद्द होने के बाद भी आरोप बरकरार रहे और बाद में ईडी और सीबीआई ने लंबी जांच के बाद दिल्ली के आम आदमी पार्टी के नेताओं संजय सिंह, मनीष सिसोदिया, अरविंद केजरीवाल समेत कई बिजनसमैन को भी गिरफ्तार किया. हलांकि जांच एजेंसियां गिरफ्तारियों के बाद भी अपने कोई भी आरोप अदालत में सिद्ध नहीं कर पाई .