Akhilesh on removing Mahant’s gunner : अयोध्या में बीजेपी की हार के बाद महंत राजू दास की सुरक्षा कम किए जाने और उनके गनर को हटाने की खबर पर अखिलेश यादव ने प्रतिक्रिया दी है. अखिलेश यादव ने कहा है कि सरकार साधु-संतों से बदला न ले.
Akhilesh on removing Mahant’s gunner : सरकार साधु-संतों से बदला न ले
यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री और समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव ने एक्स पर लिखे एक पोस्ट में बीजेपी को नसीहत दी है कि वो फैज़ाबाद में मिली हार का बदला साधु-संतों से न ले. अखिलेश यादव ने लिखा, “उप्र भाजपा अपनी हार का बदला अयोध्या के साधु-संतों से न ले। जो सच में सज्जन है उनकी सुरक्षा की समीक्षा करके सुरक्षा प्रदान की जाए.”
उप्र भाजपा अपनी हार का बदला अयोध्या के साधु-संतों से न ले। जो सच में सज्जन है उनकी सुरक्षा की समीक्षा करके सुरक्षा प्रदान की जाए।
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) June 22, 2024
अखिलेश को राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा में बुलाने का किया था विरोध
अपने पोस्ट में अखिलेश यादव ने सीधे महंत राजू दास का नाम क्यों नहीं लिखा इसकी अलग वजह है. जनवरी 2024 में अखिलेश यादव को रामलला की प्राण प्रतिष्ठा का निमंत्रण मिलने पर हनुमानगढ़ी के महंत राजू दास ने प्रतिक्रिया देते हुए कहा था. जिसके दामन में कारसेवकों के खून के छीटे हों, वह राम मंदिर नहीं आया करते…
महंत और डीएम में हुई थी झड़प
असल में मंहत का गनर हटाए जाने की बात को शुक्रवार को अयोध्या में हुई बीजेपी की समिक्षा बैठक से जोड़ा जा रहा है. बताया जा रहा एक निजी गेस्ट हाउस में बीजेपी की फैज़ाबाद में हुई हार को लेकर समीक्षा बैठक हुई. इस बैठक में योगी सरकार के दो मंत्री शामिल थे. बताया जा रहा है कि मंत्री सूर्य प्रताप शाही और पर्यटन मंत्री जयवीर सिंह की मौजूदगी में डीएम और महंत राजू दास में झड़प हो गई. महंत अपनी सुरक्षा कम किए जाने से नाराज़ थे. उन्होंने अयोध्या के व्यापारियों के दर्द के बहाने प्रशासन पर निशाना साधा तो सूत्रों के मुताबिक डीएम के साथ राजू दास की जमकर बहस शुरु हो गई. जिसे देख वहां मौजूद लोग सन्नाटे में आ गए. कोई कुछ बोल नहीं पाया. बताया जा रहा है कि इसी झड़प के बाद महंत राजू दास का गनर हटा लिया गया.