Sunday, July 6, 2025

FIR के बाद भी कुश्ती संघ के अध्यक्ष Brij Bhushan singh से दिल्ली पुलिस नहीं करेगी पूछताछ,गवाह और सबूत की है तलाश

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दिल्ली : कुश्ती संघ के अध्यक्ष बृज भूषण शरण सिंह का मामला तूल पकड़ता जा रहा है. पीड़ित पहलवान जंतर मंतर पर लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं. सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद दिल्ली पुलिस ने बृज भूषण सिंह के खिलाफ मामला तो दर्ज कर लिया है लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की है. इस बात को लेकर प्रदर्शन कर रहे पहलवानों में काफी नाराजगी है.

बिना सबूत के बृजभूषण सिंह की गिरफ्तारी नहीं

इस मामले में अभी तक पुलिस ने 4 बालिग प्लेयर्स का 161 के तहत बयान दर्ज किया है. नाबालिग खिलाड़ी का भी पुलिस ने 161 का बयान दर्ज किया है.बयान दर्ज होने के बाद अब सबूत तलाशे जा रहे हैं. सीडीआर, सीसीटीवी फुटेज, टेक्निकल एविडेन्स खंगाले जा रहे हैं. पुलिस सूत्रों की माने तो  बिना किसी सबूत के बृज भूषण सिंह को गिरफ्तार नहीं किया जा सकता है.

गवाह और सबूत तलाश रही है पुलिस

इस केस में नाबालिग खिलाड़ी का मामला 2022 का है जिसमें पोक्सो के तहत एफआईआर दर्ज किया गया है. जबकि कुछ मामले 2012, 13 के हैं. फिलहाल किसी तरह की चैट, सीसीटीवी, वीडियो, सीडीआर में अभी तक पुलिस के हाथ बृज भूषण के खिलाफ कुछ हाथ नहीं लगा है. बिना टेक्निकल एविडेन्स जुटाए बृज भूषण सिंह से पुलिस ने कोई संपर्क नहीं किया है. बृज भूषण सिंह से सम्पर्क करने से पहले पुलिस कोई न कोई ठोस सबूत चाहती है ताकि उसी हिसाब से पूछताछ की जा सके.

टेक्निकल एविडेंस के हिसाब से होगी कार्रवाई

दिल्ली पुलिस का कहना है कि इससे पहले भी प्लेयर्स आए थे. लेकिन तब कोई शिकायत नहीं दी थी. अब शिकायत दर्ज हो गई है. इसलिए पुलिस अपनी जांच को टेक्निकल एविडेन्स के हिसाब से आगे बढ़ा रही है. किसी भी केस में कोई गवाह या चश्मदीद पुलिस को नहीं मिला है.

इस मुद्दे पर सरकार ने साध रखी है चुप्पी

आपको बता दें कि FIR के बाद भी Brij Bhushan singh पर कार्रवाई नहीं करने पर पहलवानों में दिल्ली पुलिस को लेकर नाराजगी है. कानूनन पॉक्सो एक्ट में मामला दर्ज होते ही आरोपी की गिरफ्तारी हो जाती है. यही कानून कहता है लेकिन इस केस में ऐसा नहीं हो रहा है. Brij Bhushan singh बीजेपी के सांसद भी हैं लिहाजा उनको गिरफ्तार करना इतना आसान भी नहीं है. यही बात लोगों को नागवार गुजर रही है कि फिर कानून की नजर सब एक समान कैसे हुए. पूरे मामले पर सरकार की चुप्पी से भी लोग आश्चर्य में हैं. महिला एवं बाल विकास मंत्री स्मृति ईरानी का भी कोई बयान अब तक सामने नहीं आया है.

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