Diwali Puja Shubh Muhurat: दिवाली पर इस बार कई सालों बाद कार्तिक अमावस्या की तिथि पड़ रही है जो सबसे उत्तम मानी गई है, क्योंकि इस दिन महालक्ष्मी और गणेश की पूजा-आराधना करके अपने इष्ट कार्य को सिद्ध किया जा सकता है. शक्ति आराधना के लिए भी यह अमावस्या सर्वोपरि मानी गई है. इस दिन भगवान राम असुरों का संहार करके अयोध्या लौटे थे, जिनका दीपोत्सव करके स्वागत किया गया था. दिवाली का दिन लक्ष्मी के स्वागत का दिन है. हम चारों ओर प्रकाश फैलाकर सकारात्मकता के साथ महालक्ष्मी से समृद्धि और सम्पन्नता मांगते हैं. इसमें अंधेरे को दूर कर प्रकाश किया जाता है, इसी तरह हमें अपने अन्दर के विकारों के अन्धकार को मिटाकर अनुशासन, प्रेम, सत्य और सदाचार रूपी प्रकाश से स्वयं को प्रकाशित करना चाहिए.
Diwali Puja Shubh Muhurat कब है शुभ
दिवाली पर लक्ष्मी पूजा के दो शुभ मुहूर्त है. पहला शुभ मुहूर्त प्रदोष काल में है. प्रदोष काल 12 नवंबर को शाम 05.28 बजे से रात 08:07 बजे तक रहेगा, जिसमें वृषभ काल 05.39 बजे से 07.33 बजे तक रहेगा. इस अवधि में पूजा करना उत्तम होगा. यानी लक्ष्मी पूजन के लिए आपको 1 घंटा 54 मिनट का समय मिलेगा. लक्ष्मी पूजा का दूसरा शुभ मुहूर्त निशीथ काल में मिलेगा. निशीथ काल 12 नवंबर को रात 11.39 बजे से देर रात 12.32 बजे तक रहेगा.
माँ लक्ष्मी के इस रूप की करें पूजा
मां लक्ष्मी की पूजा सफेद या गुलाबी वस्त्र पहनकर करनी चाहिए. मां लक्ष्मी के उस प्रतिमा या मूर्ति की पूजा करनी चाहिए, जिसमें वह गुलाबी कमल के पुष्प पर बैठी हों. साथ ही उनके हाथों से धन बरस रहा हो. मां लक्ष्मी को गुलाबी पुष्प विशेषकर कमल चढ़ाना सर्वोत्तम होता है.