Friday, December 13, 2024

TMC Mamata : पश्चिम बंगाल में INDIA गठबंधन को तगड़ा झटका,ममता बनर्जी ने लोकसभा चुनाव अकेले लड़ने का किया ऐलान

नई दिल्ली  पश्चिम बंगाल में विपक्षी एकता (INDIA ALLIANCE) को तगड़ा झटका लगा है. टीएमसी नेता ममता बैनर्जी TMC Mamata ने ऐलान कर दिया है कि लोकसभा में टीएमसी  बंगाल के सभी 42 सीटों पर अकेले ही चुनाव लड़ेगी. ममता बैनर्जी के इस फैसले के पीछे बंगाल में पार्टी के कांग्रेस अध्यक्ष अधीर रंजन चौधरी से उनकी नाराजगी और सीटों को लेकर तालमेल ना हो पाने को माना जा रहा है.

TMC Mamata का बयान -कांग्रेस ने सीट शेयरिंग का प्रस्ताव ठुकराया

बुधवार को टीएमसी नेता ममता बनर्जी ने बयान दिया कि मैंने कांग्रेस को सीट शेयरिंग का प्रस्ताव दिया था,लेकिन उन्होंने प्रस्ताव खारिज कर दिया,अब टीएमसी ने राज्य में अकेले अपने दम पर ही चुनाव लड़ने का फैसला किया है.टीएमसी की तरफ से पार्टी ने राज्य में कांग्रेस को 42 में से 2 सीटों पर चुनाव लड़ने का ऑफर दिया था जिसे कांग्रेस ने खारिज कर दिया.

राहुल गांधी के बंगाल घुसने से ठीक पहले ममता का ऐलान

ममता बैनर्जी ने ये ऐलान ऐसे समय पर किया है, जब कांग्रेस नेता राहुल गांधी अपनी ‘भारत जोड़ो न्याय यात्रा’ के साथ बंगाल में प्रवेश करने वाले हैं. ममता के बयान से राहुल गांधी की न्याय यात्रा को झटका लग सकता है. दरअसल बंगाल में काफी समय से कांग्रेस नेता अधीर रंजन और ममता बैनर्जी के बीच सीटों के तालमेल को लेकर तकरार चल रही थी. ममता बनर्जी की पार्टी के महासचिव  कुमाण घोष की तऱफ से अधीर रंजन पर प्रदेश में भाजपा की हवा चलाने के भी आरोप लगे.

कांग्रेस का नहीं है जनाधार, 2 सीट ही काफी-टीएमसी  

हाल ही में टीएमसी महासचिव कुणाल घोष ने कांग्रेस के लिए कहा कि काग्रेस की राज्य इकाई TMC पर दवाब बनाकर BJP को ऑक्सीजन दे रही है.ये नहीं चलेगा.टीएमसी 42 सीटों पर लड़ने के लिए तैयार हैं. कांग्रेस को जमीनी हकीकत समझते हुए सीट शेयरिंग की बात करनी चाहिये.टीएमसी महासचिव कुणाल घोष ने 2021 विधानसभा चुनाव की याद दिलाते हुए कहा कि कांग्रेस ने CPI गठबंधन के साथ खराब प्रदर्शन किया था. कांग्रेस का राज्य में वोट शेयरिंग भी कम हुआ है. इसलिए टीएमसी ने उन्हें दो सीट देने की पेशकश की है. कांग्रेस अनुचित सौदेबाजी कर रही है.

कांग्रेस का लगातार घट रहा है वोट शेयर-टीएमसी

लोकसभा चुनाव 2009 में कांग्रेस को 13.5% वोट मिले थे, 2014 में वो वोट घटकर 9.7% हो गया. 2019 वोट प्रतिशत और कम होकर 5.6% पर आ गया. 2009 में कांग्रेस के पास 6 लोकसभा सीट थी, 2014 घटकर 4 रह गई, 2019 में तो संख्या  2 पर पहुंच गई.

टीएमसी का वोट शेयर लगातार बढ़ा 

वहीं टीएमसी का दावा है कि राज्य में पार्टी का वोट शेयर बढ़ा है. 2009 में टीएमसी के पास 31.2 प्रतिशत वोट शेयर (19 सीट) था जो  2014 में बढ़कर 39.8 प्रतिशत हुआ और पार्टी ने लोकसभा चुनाव में 34 सीटें जीती.2019 में तो राज्य में टीएमसी का वोट प्रतिशत 43.3 रहा , लेकिन सीटें घट गई और टीएमसी 43 से 22 सीटों पर आ गई.

बंगाल में कांग्रेस टीएमसी के टूटन से पड़ेगा इंडिया गठबंधन पर प्रभाव ?

एक तरफ देश 2024 के लोकसभा चुनाव के मुहाने पर खड़ा है,बीजेपी ताबड़तोड रणनीतियों के साथ 2024 जीतने की तैयारी में है, वहीं विपक्ष को एकजुट करने की मुहिम को लेकर शुरु हुआ इंडिया गठबंधन के सदस्य सीटों पर तालमेल तक नहीं कर पाये हैं. गठबंधन की सभी बड़ी पार्टियों दोधारी  खेल रही है. कांग्रेस अकेले लगभग 300 सीटों पर लड़ने की तैयारी में है,वहीं सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने गठबंधन से किनारा ही कर लिया है.बंगाल में ममता बैनर्जी ने भी साफ कर दिया कि कांग्रेस के साथ अब लोकसभा चुनाव तक कोई समझौता नहीं होगा. वहीं बिहार में स्थिति साफ नहीं है.इंडिया गठबंधन की अगुवाई कर रहे नीतीश कुमार की रणनीति भी साफ नहीं है. बिहार में सत्ता परिवर्तन की हवा गर्म है. यही कारण है कि बीजेपी के केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने कहा ये तो होना ही था.

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