Air India: शनिवार को केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने उन्हें टूटी हुई सीट आवंटित किए जाने के बाद सीट व्यवस्था में कुप्रबंधन के लिए एयर इंडिया की आलोचना की और सवाल किया कि क्या वे यात्रियों के साथ धोखाधड़ी कर रहे हैं. केंद्रीय मंत्री ने अपना अनुभव एक्स पर शेयर किया और नीजिकरण को लेकर अपनी घारणा की भी बात की. लेकिन सवाल ये उठता है कि क्या सरकार आम लोगों के लिए भी आवाज़ उठाएगी या फिर उभोक्ता सिर्फ महंगे सफर के लिए सुविधाएं सिर्फ मंत्रियों के लिए होंगी. ये सवाल इसलिए क्योंकि शिवराज सिंह ने सिर्फ पोस्ट लिख शिकायत की और चिंता जताई. उन्होंने उड्डयन मंत्री को टेग कर इस मामले का संज्ञान लेने नहीं कहा.
शिवराज सिंह ने एक्स पर पोस्ट लिख की शिकायत
एक्स पर एक पोस्ट में मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और केंद्रीय कृषि मंत्री ने कहा, ” आज मुझे भोपाल से दिल्ली आना था, पूसा में किसान मेले का उद्घाटन, कुरुक्षेत्र में प्राकृतिक खेती मिशन की बैठक और चंडीगढ़ में किसान संगठन के माननीय प्रतिनिधियों से चर्चा करनी है. मैंने एयर इंडिया की फ्लाइट क्रमांक AI436 में टिकिट करवाया था, मुझे सीट क्रमांक 8C आवंटित हुई. मैं जाकर सीट पर बैठा, सीट टूटी और अंदर धंसी हुई थी। बैठना तकलीफदायक था. ”
उन्होंने कहा कि “जब मैंने विमानकर्मियों से पूछा कि खराब सीट थी तो आवंटित क्यों की? उन्होंने बताया कि प्रबंधन को पहले सूचित कर दिया था कि ये सीट ठीक नहीं है, इसका टिकट नहीं बेचना चाहिए. ऐसी एक नहीं और भी सीटें हैं.”
शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि“सहयात्रियों ने मुझे बहुत आग्रह किया कि मैं उनसे सीट बदल कर अच्छी सीट पर बैठ जाऊं लेकिन मैं अपने लिए किसी और मित्र को तकलीफ क्यों दूं, मैंने फैसला किया कि मैं इसी सीट पर बैठकर अपनी यात्रा पूरी करूंगा।”
चौहान ने कहा कि ” मेरी धारणा थी कि टाटा प्रबंधन के हाथ में लेने के बाद एयर इंडिया की सेवा बेहतर हुई होगी, लेकिन ये मेरा भ्रम निकला.”
उन्होंने एयरलाइन से पूछा, “मुझे बैठने में कष्ट की चिंता नहीं है लेकिन यात्रियों से पूरा पैसा वसूलने के बाद उन्हें खराब और कष्टदायक सीट पर बैठाना अनैतिक है. क्या ये यात्रियों के साथ धोखा नहीं है? क्या आगे किसी यात्री को ऐसा कष्ट न हो, इसके लिए एयर इंडिया प्रबंधन कदम उठाएगा या यात्रियों की जल्दी पहुंचने की मजबूरी का फायदा उठाता रहेगा।?”
Air India ने मांगी माफी
एयर इंडिया ने केंद्रीय मंत्री की शिकायत पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा, “प्रिय महोदय, हमें हुई असुविधा के लिए खेद है. कृपया निश्चिंत रहें कि हम भविष्य में ऐसी किसी भी घटना को रोकने के लिए इस मामले को ध्यान से देख रहे हैं. हम आपसे बात करने के अवसर की सराहना करेंगे, कृपया हमसे जुड़ने के लिए सुविधाजनक समय पर हमें डीएम करें.”
जब केंद्रीय मंत्री को मिली टूटी सीट तो आम जनता का क्या हाल होगा
ये मामला को केंद्रीय मंत्री का था तो एयर इंडिया ने माफी मांग ली लेकिन रोज़ यात्रा करने वाले हज़ारों लोग जो निजी एयरलाइन की मनमानी और धोखाधड़ी का शिकार होते हे उनका क्या. आए दिन फ्लाइट का घंटों देर से उड़ना, यात्रियों के समान के साथ टूट फूट, फ्लाइट में एसी बंद रखना तो आम शिकायतें हैं. फ्लाइट में सीटें बढ़ने से छोटी जगह में घंटों बैठे रहना, महंगे टिकट के अलावा सीट बेचना जिस से कई बार लोगों को फ्लाइट खाली होने पर भी असुविधाजनक सीटो पर सफर करना पड़ता है. इन सब का संज्ञान कौन लेगा.
कृषि मंत्री ने उड्डयन मंत्री से क्यों नहीं की शिकायत
सवाल ये भी है कि जब देश में उड्डयन मंत्री है तो कृषि मंत्री ने अपने पोस्ट में उन्हें टेग कर शिकायत क्यों नहीं की. क्या सरकार के प्रतिनिधि होने के चलते ये उनकी जिम्मेदारी नहीं थी कि वो सिर्फ उम्मीद न करें बल्कि कड़े कदम उठाएं की आगे किसी को टूटी सीट पर बैठना न पड़े.
अभी पिछले सत्र में ही आप सांसद राघव चड्ढा ने एयरपोर्ट पर महंगे खाने पीने की चीजों का मुद्दा उठाया था. उन्होंने महंगे टिकटों के दम पर भी आपत्ति जताई थी.