अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने गाजा युद्ध को खत्म करने के लिए एक नया प्लान बनाया है. उन्होंने व्हाइट हाउस में इस प्लान को जारी किया. इस दौरान ट्रंप ने कहा कि इजरायली पीएम बेंजामिन नेतन्याहू इस प्लान से सहमत हैं. वहीं, डोनाल्ड ट्रंप ने हमास को भी चेतावनी दी है. वहीं, प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि ट्रंप की यह योजना फिलिस्तीनी और इजराइली लोगों के लिए “दीर्घकालिक और स्थायी शांति” का मार्ग प्रशस्त करती है.
डोनाल्ड ट्रंप ने हमास को दी चेतावनी
उन्होंने कहा कि मुझे उम्मीद है कि हम शांति के लिए एक समझौता करेंगे और अगर हमास इस समझौते को अस्वीकार कर देता है तो जो संभव है, तो इस डील से सिर्फ वे ही बच जाएंगे. उन्होंने आगे कहा बाकी सभी ने इसे स्वीकार कर लिया है, लेकिन मुझे लगता है कि हमें एक सकारात्मक जवाब मिलेगा. लेकिन अगर ऐसा नहीं होता है, तो जैसा कि आप जानते हैं इजरायली पीएम आपको जो करना होगा उसके लिए हमारा पूरा समर्थन है.
पीएम मोदी ने किया ट्रंप के फैसले का स्वागत
हम राष्ट्रपति डोनाल्ड जे. ट्रम्प द्वारा गाजा संघर्ष को समाप्त करने के लिए एक व्यापक योजना की घोषणा का स्वागत करते हैं. यह फिलिस्तीनी और इजरायली लोगों के साथ-साथ व्यापक पश्चिम एशियाई क्षेत्र के लिए दीर्घकालिक और स्थायी शांति, सुरक्षा और विकास का एक व्यवहार्य मार्ग प्रदान करता है. हमें उम्मीद है कि सभी संबंधित पक्ष राष्ट्रपति ट्रम्प की पहल के पीछे एकजुट होंगे और संघर्ष को समाप्त करने और शांति सुनिश्चित करने के इस प्रयास का समर्थन करेंगे.
प्रधानमंत्री मोदी की यह टिप्पणी ऐसे समय में आई है जब व्हाइट हाउस ने सोमवार (स्थानीय समय) को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के बीच बैठक के बाद गाजा संघर्ष को समाप्त करने के लिए एक शांति योजना जारी की.
कई देशों ने किया ट्रंप की योजना का स्वागत
इससे पहले, कनाडा, कतर, जॉर्डन, संयुक्त अरब अमीरात, इंडोनेशिया, पाकिस्तान, तुर्की, सऊदी अरब और मिस्र ने भी अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप की योजना का स्वागत किया था.
इस शांति योजना में यह भी शामिल था कि गाजा एक कट्टरपंथ-मुक्त, आतंक-मुक्त क्षेत्र होगा जो अपने पड़ोसियों के लिए कोई खतरा पैदा नहीं करेगा और गाजा के लोगों, जिन्होंने पहले ही बहुत कुछ सहा है, के लाभ के लिए इसका पुनर्विकास किया जाएगा.
ट्रंप के फैसले पर क्या बोले नेतन्याहू?
व्हाइट हाउस में नेतन्याहू ने ट्रंप के फैसले का समर्थन देते हुए कहा कि जब हमारे दोमों देश कंधे से कंधे मिलाकर खड़े होते हैं, तो हम असंभव को भी संभव करके दिखा सकते हैं.
नेतन्याहू के मुताबिक, इस प्रस्ताव से चार बड़े लक्ष्य प्राप्त होंगे. पहला, गाजा में बंधक बनाए गए सभी इजरायली नागरिकों और सैनिक सुरक्षित लौट आएंगे. दूसरा, हमास की सैन्य क्षमताओं को पूरी तरह नष्ट किया जाएगा ताकि भविष्य में वह इजरायल के लिए खतरा न बने. तीसरा, हमास की राजनीतिक सत्ता का अंत किया जाएगा और गाजा में उनकी किसी भी तरह की शासन व्यवस्था को मान्यता नहीं मिलेगी. चौथा, गाजा का प्रशासनिक नियंत्रण हमास या फिलिस्तीनियों के हाथों में नहीं दिया जाएगा. इसके बजाय एक अंतरिम ढांचा तैयार किया जाएगा जिसमें अंतरराष्ट्रीय सहयोग और तकनीकी विशेषज्ञों की भूमिका होगी.