Friday, December 13, 2024

काशी विश्वनाथ धाम में एक साल में चढ़ा सौ करोड़ से अधिक का चढ़ावा,4 से 5 साल में निकल जाएगा निर्माण का खर्च

काशी

काशी विश्वनाथ कोरिडोर के लोकार्पण का आज यानी 13 दिसंबर को एक साल पूजा हो गया है . लोकार्पण दिवस के मौके पर पूरे मंदिर परिसर को उसी तरह से सजाया गया है जैसे लोकार्पण के मौके पर सजाया गया था.आज ही के दिन पीएम मोदी ने इस धाम का लोकार्पण किया था.

 

काशी विश्नाथ मंदिर की तरफ से दी गई जानकारी के मुताबिक केवल एक साल में करीब 7 करोड़ 35 लाख से अधिक श्रद्धालुओं ने बाबा के दरबार में टेका मत्था टेका है. भक्तों ने एक साल में सौ करोड़ से भी ज्यादा का चढ़ावा चढ़ाया है . चढावे में कैश के साथ साथ 60 किलो सोना, 10 किलो चांदी,1500 किलो तांबा भक्तों ने बाबाब भोले के दरबार में अर्पण किया है .पिछले एक साल में श्री काशी विश्वनाथ मंदिर प्रशासन की आय में 500 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है.

काशी विश्वनाथ परिसर में भक्तों ने चढ़ावा चढ़ाने का रिकार्ड तोड़ा

श्रीकाशी विश्वनाथ धाम ने अपने पहले ही साल में चढ़ावे के सभी रिकॉर्ड को तोड़ दिया है. आज यानी मंगलवार 13 दिसंबर को श्रीकाशी विश्वनाथ धाम के लोकर्पण की पहली वर्षगांठ है. मंदिर प्रशासन की ओर से इस रंगारंग कार्यक्रम आयोजित किये जा रहे हैं. वहीं इन सब के बीच बड़ी खबर ये है कि बीते एक साल में देश-दुनिया से श्रीकाशी विश्वनाथ के दर्शन के लिए आये शिवभक्तों ने दिल खोलकर बाबा के दरबार में नकदी, सोना, चांदी और अन्य धातुओं का चढ़ावा चढ़ाया है. मंदिर प्रशासन के आंकलन के अनुसार चढ़ावे का कुल मूल्य 100 करोड़ रुपए से भी ज्यादा का है.

सोना, चांदी से भरा बाबा का दरबार

श्रीकाशी विश्वनाथ मंदिर के मुख्य कार्यपालक अधिकारी सुनील कुमार वर्मा ने बताया कि धाम के लोकार्पण से अब तक श्रद्धालुओं द्वारा लगभग 50 करोड़ से अधिक की नकदी दान की गयी है. इसमें से 40 प्रतिशत धनराशि आनलाइन सुविधाओं के उपयोग से प्राप्त हुई है. वहीं श्रद्धालुओं द्वारा लगभग 50 करोड़ से अधिक की बहुमूल्य धातु (60 किलो सोना, 10 किलो चांदी और 1500 किलो तांबा) भी है. आस्थावानों द्वारा दिये गये सोना व तांबे का प्रयोग करके गर्भगृह की बाहरी एवं आंतरिक दीवारों को स्वर्ण मंडित किया गया है. अधिकारी के अनुसार 13 दिसम्बर  2021 से लेकर अबतक श्रद्धालुओं द्वारा 100 करोड़ रुपए से अधिक का अर्पण किया गया है, जो मंदिर के इतिहास में सर्वाधिक है. साथ ही पिछले वर्ष की तुलना में ये राशि लगभग 500 प्रतिशत से अधिक है.

लोकार्पण के बाद से लेकर अबतक मंदिर में 7.35 करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं ने दर्शन किया है. बता दें कि धाम परिसर के चारों द्वार पर लगे हेड स्कैनिंग मशीन के जरिए नियमित अंतराल पर श्रद्धालुओं की गिनती की जाती है.

लोकार्पण के बाद श्रीकाशी विश्वनाथ धाम आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या

महीना*                              श्रद्धालुओं की संख्या*

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दिसंबर – 2021                                  4842716

जनवरी -2022                         7459471

फरवरी – 2022                        6856142

मार्च – 2022                                      7171163

अप्रैल – 2022                                    6587264

मई – 2022                              6290511

जून – 2022                              6916981

जुलाई – 2022                         7681561

अगस्त – 2022                                 6711499

सितंबर – 2022                               4013688

अक्टूबर – 2022                              3830643

नवंबर – 2022                                   3870403

दिसंबर (1-12-2022 to 12-12-2022 )        1350000

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कुल*                                  73582042*

4 से 5 साल में निकल जाएगा निर्माण का खर्च

मुख्य कार्यपालक अधिकारी ने बताया कि श्रीकाशी विश्वनाथ कॉरिडोर के निर्माण और मुआवजा में तकरीबन 900 करोड़ रुपए खर्च हुए थे. आने वाले समय में धाम में सुविधाओं के विस्तार से भक्तों की संख्या बढ़ना निश्चित है, जिससे शिवभक्तों की ओर से चढावा भी बढ़ेगा. उन्होंने बताया कि चढ़ावे के अलावा कॉरिडोर में बने भवनों से भी अतिरिक्त आय होगी. माना जा रहा है कि कॉरिडोर की लगात अगले 4 से 5 साल में भक्तों के चढ़ावे और परिसर में नवनिर्मित भवनों से होने वाली आय से पूरी कर ली जाएगी.

लोकार्पण के बाद बढ़ी हैं श्रद्धालुओं की सुविधा

मुख्य कार्यपालक अधिकारी सुनील कुमार वर्मा ने बताया कि लोकार्पण के बाद मंदिर न्यास द्वारा श्रद्धालुओं की सुविधाओं में लगातार बेहतरी का प्रयास किया गया है. पेयजल व्यवस्था, छाया की व्यवस्था, मैट व अन्य मूलभूत सुविधाओं के साथ-साथ साफ-सफाई पर विशेष ध्यान दिया गया है. सुगम दर्शन व्यवस्था में 50 कर्मचारी कार्यरत हैं, जबकि साफ सफाई व्यवस्था में 200 कर्मियों एवं दर्शनार्थियों को बेहतर सुरक्षा एवं सुविधा देने के लिए 100 कर्मियों को लगाया गया है. इसके अलावा लॉकर, हेल्प डेस्क स्थापित किये गये हैं. मंदिर में दर्शनार्थ आने वाले वृद्ध व दिव्यांगजनों की सुविधा के लिए व्हील चेयर की व्यवस्था की गयी है.

धाम के कारण वाराणसी में बढ़े हैं पर्यटक

श्री काशी विश्वनाथ धाम का नव्य भव्य स्वरूप होने के कारण वाराणसी में पर्यटकों व दर्शनार्थियों की संख्या बढ़ी है. इसकी वजह से परिवहन, होटल, गेस्टहाउस, नाविकों, श्रमिकों, वस्त्र उद्योग, हेंडीक्राफ्ट व अन्य व्यवसाय से अर्थव्यवस्था भी रफ़्तार पकड़ रही है. दो दिन पहले ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इसकी पुष्टि करते हुए कहा था कि पहले एक साल में काशी में 1 करोड़ पर्यटक आते थे, अब एक महीने में ही इतने पर्यटक बनारस आ रहे हैं.

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